गोपालन मंत्री जोराराम कुमावत ने दिए निर्देश
जयपुर, 28 अक्टूबर। गोपालन विभाग के मंत्री जोराराम कुमावत के द्वारा विभागीय प्रगति की समीक्षा बैठक में आज सचिवालय में आयोजित मीटिंग में यह निर्देश जारी किए की गोपाष्टमी पर्व के अवसर पर प्रदेश की सभी पात्र गौशालाओं में गोपाष्टमी महोत्सव का आयोजन किया जाएगा। इस अवसर पर गौसेवा, गौपूजन, तथा गौ संरक्षण से जुड़ी विभिन्न गतिविधियाँ आयोजित की जाएंगी।
गोपालन निदेशक पंकज ओझा ने बताया कि मुख्यमंत्री और विभाग के मंत्री जोराराम के निर्देश पर विभाग के सचिव समित शर्मा के द्वारा प्रवर्तित नावाचार के तहत गोपाष्टमी का पर्व गौमाता के प्रति श्रद्धा और सेवा भाव का प्रतीक है। इस दिन प्रदेश की सभी पंजीकृत और पात्र गौशालाओं में विशेष कार्यक्रम आयोजित कर गौसेवा के महत्व को रेखांकित किया जाएगा। उन्होंने बताया कि इस संबंध में सभी जिलों के अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि वे अपने-अपने क्षेत्रों की गौशालाओं में आयोजित कार्यक्रमों की मॉनिटरिंग करें तथा अधिकाधिक सहभागिता सुनिश्चित कराएं।
गोपाष्टमी महोत्सव के दौरान 29 और 30 अक्टूबर को प्रदेश की समस्त पात्र गौशालाओं में गौमाता की पूजा-अर्चना, गौरक्षा संकल्प, गौचारा वितरण, गौसेवा शिविर तथा पर्यावरण संरक्षण से जुड़ी जागरूकता गतिविधियाँ भी आयोजित की जाएंगी। साथ ही, गौशाला प्रबंधन समितियों द्वारा स्थानीय जनप्रतिनिधियों और ग्रामीणों की सहभागिता से गौसेवा को लोकआंदोलन के रूप में विस्तार देने के प्रयास किए जाएंगे।
जड़खोर धाम गौशाला डीग भरतपुर में इस अवसर पर 10000 से अधिक गोवंश का पूजन अर्चन और गौ रक्षा संकल्प गौ रक्षा सूत्र का कार्यक्रम भी आयोजित किया जा रहा है जहां भजन संध्या भी होगी एवं विभाग के राज्य मंत्री जवाहर सिंह मैडम भी उसमें उपस्थित रहेंगे साथ ही भरतपुर के आईजी पुलिस, जिला जिला कलेक्टर महोदय भी उपस्थित रहेंगे। जो कि राज्य में पहली बार इतनी बड़ी संख्या में गोवंश का एक साथ पूजन अर्चन संरक्षण कार्यक्रम आयोजित किया जा रहा है जो की एक विशेष नवाचार है।
ओझा ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा गौसंवर्धन, गौसंरक्षण और गौआश्रयों के विकास हेतु निरंतर योजनाएँ संचालित की जा रही हैं। गोपाष्टमी जैसे पर्व इन प्रयासों को जन-जन तक पहुँचाने का उत्तम अवसर हैं। उन्होंने कार्यक्रम के उपरांत अपने जिले में आयोजित गतिविधियों की विस्तृत रिपोर्ट भी गोपालन निदेशालय को भिजवाने के निर्देश जिलाधिकारियों को दिए हैं। यह प्रदेश में पहला नवाचार है जब सारी गौशालाओं में यह कार्यक्रम आयोजित किया जा रहे हैं !

















