प्रेम आया तो समझो तुम्हारे अंदर परमात्मा आया है : पूज्य सिद्धगुरु

श्री सिद्धेश्वर ब्रह्मर्षि गुरुदेव की निश्रा में ‘सावन महोत्सव’ का भव्य समारोह जोधपुर में सम्पन्न

जोधपुर। सूर्य नगरी जोधपुर में धर्म की पताका लहराने के लिए विश्व धर्म चेतना मंच, जोधपुर ने सिद्धगुरु श्री सिद्धेश्वर ब्रह्मार्षि गुरुदेव के पावन सान्निध्य में ‘सावन महोत्सव’ का आयोजन किया। इस अवसर पर सिद्धगुरु श्री सिद्धेश्वर ब्रह्मर्षि गुरुदेव ने कहा, प्रेम करना सीखो, अपने आप से प्रेम करो, सभी से प्रेम करो, लेकिन हमारा यह प्रेम अनकंडीशनल होना चाहिए। परमात्मा हम से अनकंडीशनल प्रेम करते हैं। उसे किसी एक को चुनने का अधिकार नहीं है। क्योंकि उसने ही सारी दुनिया बनाई है। जिसने सभी रंगो की रचना की है तो वह किस रंग को चुनेगा, सभी तो उसके ही बनाए हुए हैं। ब्रह्मर्षि गुरुदेव ने कहा जब हमारे अन्दर प्रेम प्रकट होता है, हमारे अन्दर परमात्मा झलकता है। जब हम मुस्कुराते हैं, परमात्मा प्रकट होता है। क्रोधित होते हैं तो शैतान झलकने लगता है। सिद्धगुरु श्री सिद्धेश्वर ब्रह्मर्षि गुरुदेव ने यह भी कहा कि तुम अपने जीवन के बाद बच्चों के लिए क्या छोड़कर जाते हो यह कम मायने रखता है। बच्चों में क्या छोड़कर जाते हो यह जरूरी है। बच्चों को संस्कार देंगे तो वे अपनी और परिवार की वैल्यू समझेंगे। इससे पहले आश्रम के राष्ट्रीय अध्यक्ष रमेश सांखला ने सभी के स्वागत वक्तव्य के साथ परमात्म स्वरुप सिद्धगुरु की आलौकिक शक्तियों, महिमाओं का मय उदाहरण के विस्तार से वर्णन किया। अनेक वक्ताओं, गणमान्यजनों में ग्लोबल चेयरपर्सन श्रीमती सरला बोथरा, चेयरमैन घनश्याम मोदी, आचार्य श्रीनिवास श्रीमाली, एडवाइजरी बोर्ड चेयरपर्सन एवं महाराष्ट्र सरकार में पूर्व मंत्री राज के पुरोहित, राजस्थान के वाणिज्य मंत्री केके बिश्नोई, कानून मंत्री जोगाराम पटेल, वुमन विंग श्रीमती प्रभा भंडारी, इंदु राठौड़, जोधपुर केन्द्र के अध्यक्ष गणपत आंचलिया, अशोक सिंघवी, शुभम गुलेच्छा, राज्यसभा सांसद राजेन्द्र गहलोत, जोधपुर शहर के विधायक अतुल भंसाली, जोधपुर दक्षिण की महापौर श्रीमती वनिता सेठ, महापौर जोधपुर उत्तर श्रीमती कुंती देवड़ा, विधायक भीमराज भाटी, आईजी. बीएसएफ एमएल गर्ग, आशीष शांतिलाल मेहता, राजेश चोरड़िया, महेंद्र दफ्तरी, प्रमोद पालीवाल, चेन्नई के प्रकाशगुरु कमल आत्रेय, ओमप्रकाश शर्मा, आदि ने श्रीसिद्धेश्वर ब्रह्मर्षि गुरुदेव का वंदनीय स्वागत–सत्कार करते हुए आशीर्वाद लिया। देश और दुनिया भर से बड़ी संख्या में शामिल श्रद्धालु भक्तों को संबोधित करते हुए मानवता की रक्षार्थ धार्मिक, आध्यात्मिक एवं राष्ट्रहित की प्रेरणादाई सीख के साथ पूज्य सिद्धगुरु ने कहा कि संसार का यह जो प्रेम है, यह तभी तक है, जब तक यह शरीर है। तुम्हारी आत्मा का जीवन साथी तेरा शरीर है। जब तक यह शरीर है, तेरी आत्मा की पहचान है। इसलिए शरीर को स्वस्थ रखना, अच्छा रखना। प्रतिदिन योग, प्राणायाम, ध्यान आदि करना, जिससे शरीर स्वस्थ बना रहे। हमारे देश ने विश्व को योग दिवस का संदेश दिया यदि हम ही उस पर ध्यान नहीं देंगे तो हम उसके लाभ से वंचित रह जाएंगे। जीवन में ऊंचाई पर वही व्यक्ति पहुंचता है जो प्रतिशोध में ना जाकर परिवर्तन की खोज में रहता है। वे बोले, भगवान से जुड़ने का एक रास्ता प्रेम का है तो दूसरा प्रार्थना का। प्रेम में सेवा, धर्म, पुण्य, जीवदया है तो प्रार्थना में ध्यान, पूजा, व्रत और तप आता है। दीप प्रज्वलन के साथ शुरु हुए कार्यक्रम में रवि त्रिवेदी ने संगीतमय व बच्चों ने सांस्कृतिक प्रस्तुतियां दी। कार्यक्रम का संचालन मयंक एन सोलंकी ने किया।

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