राजस्थान में सड़क हादसों ने छीन ली सौ से अधिक जिंदगियां
जयपुर । साल 2024 खत्म होने को है। इस साल की कुछ खट्टी-मीठी यादें ऐसी होंगी, जो आपके जेहन में बस गई होंगी। कुछ यादें ऐसी भी हैं, जिन्होंने कई परिवारों की आंखों में जीवन भर के लिए आंसू ला दिए। इस साल राजस्थान में हुए 14 भीषण सड़क हादसों में 100 से ज्यादा लोगों की जान चली गई। इन हादसों में सबसे भीषण हादसा जयपुर के भांकरोटा में हुआ। साल के आखिरी महीने में भीषण आग में 20 लोग जिंदा जल गए जबकि 14 लोगों का अभी भी उपचार चल रहा है।
जनवरी-सात की मौत: साल 2024 के पहले ही महीने में सीकर के लक्ष्मणगढ़ में भीषण सड़क हुआ, जिसमें सात लोगों की जान चली गई। जीणमाता थाना क्षेत्र के दांतला गांव से मकर संक्रांति पर कपड़े पहनाने गए परिवार के चार जने सास, बहू, बेटी और दोहिती की मृत्यु हो गई है। कार में दो लोग सवार थे और दोनों की ही मृत्यु हो गई। दो बहनों के इकलौते भाई रणवीर की भी हादसे में मौत हो गई थी।
पांच की मौत: बीकानेर जिले के नोखा क्षेत्र में भारतमाला सड़क पर तेज रफ्तार कार पीछे से ट्रक में घुस गई थी। हादसे में डॉक्टर दम्पति, उनकी दो साल की बेटी, एक महिला कम्यूनिटी हेल्थ ऑफिसर और उनके पति समेत पांच लोगों की मौत हो गई थी। ये सभी लोग कश्मीर घूमकर वापस अपने घर लौट रहे थे।
14 अप्रैल- सात जिंदा जले: सीकर जिले में सालासर-चूरू रोड पर भीषण सड़क हादसे में कार सवार सात लोग जिंदा जल गए थे। मेरठ की दो सगी बहनों का परिवार सालासर दर्शनों के बाद वापस लौट रहा था। इस बीच ट्रक को ओवरटेक करते हुए कार आगे निकली तो सामने से एक वाहन आ गया, जिसे बचाने के फेर में कार आगे चल रहे ट्रक में घुस गई। इससे कार में आग लग गई और सात जिंदा जल गए थे।
5 मई- छह की मौत: सवाईमाधोपुर जिले के बौंली कस्बा क्षेत्र स्थित दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस-वे पर एक कार अनियंत्रित होकर आगे चल रहे वाहन में घुस गई थी। इस हादसे में एक ही परिवार के पांच लोगों सहित छह की मौत हो गई थी। हादसा तब हुआ था जब मुकुन्दगढ़ झुंझुनूं निवासी एक परिवार रणथंभौर गणेशजी के दर्शन करने एवं नए वाहन का पूजन करवाने जा रहा था।
17 मई- पांच की मौत: भरतपुर जिले में आगरा-बीकानेर राष्ट्रीय राजमार्ग-21 पर स्थित हलैना-तिलचिवी के बीच ओवरटेक कर रही उत्तरप्रदेश रोडवेज की बस लकड़ी से भरे ट्रेलर से टकरा गई थी, जिसमें बस सवार पांच महिला यात्रियों की मौत हो गई थी। हादसा इतना भीषण था कि बस का एक तरफ का हिस्सा पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गया था।
1 जुलाई- नौ की मौत: करौली में श्रद्धालुओं से भरी बोलेरो और ट्रक की भिड़ंत में नाै लोगों की मौत हो गई थी। मध्यप्रदेश के श्योपुर के रहने वाले लोग बोलेरो से कैलादेवी दर्शन करने के लिए आए थे और दर्शन के बाद वापस घर लौट रहे थे। इस बीच मंडरायल रोड पर डूंडापुरा के पास भीषण हादसा हो गया था। भिड़ंत इतनी जबरदस्त थी कि बोलेरो का आगे का हिस्सा चकनाचूर हो गया था।
2 अगस्त- चार की मौत: बारां जिले में राष्ट्रीय राजमार्ग 27 पर जीप पलटने से चार लोगों की मौत हो गई थी। ये लोग रामगढ़ क्षेत्र के किशनाईपुरा गांव से अपनी बहन को लेने गए हुए थे। वापस लौटते समय भंवरगढ़ कस्बे से पहले सड़क पर आए मवेशी को बचाने के चलते वाहन अनियंत्रित होकर पलट गया।
4 अगस्त- चार की मौत: सवाईमाधोपुर जिले में सूरवाल थाना क्षेत्र के त्रिलोकपुरा टापरी गांव के पास दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस-वे हुए सड़क हादसे में एक ही परिवार के चार लोगों की मौत हो गई थी। चालक को झपकी लगने से कार आगे चल रहे ट्रक में घुस गई। हादसा उस वक्त हुआ जब कार सवार सभी लोग महिला रिश्तेदार का ऋषिकेश (उत्तराखंड) में क्रियाकर्म कर मध्यप्रदेश के विक्रमगढ़ आलोट लौट रहे थे।
6 अक्टूबर- पांच की मौत: दौसा जिले में दिवाली से पहले भीषण हादसा हुआ था। लालसोट शहर के बस स्टैण्ड पर एक ओवरलोड डंपर ब्रेक फेल होने से बेकाबू हो गया था और राहगीरों को कुचलता हुए तीन बाइक व एक निजी बस को टक्कर मार दी थी। इस हादसे में पिता-पुत्री समेत पांच लोगों की मौत हो गई थी।
20 अक्टूबर- 12 की मौत: धौलपुर जिले में राष्ट्रीय राजमार्ग 11बी स्थित सुनीपुर के पास हुए भीषण हादसे में 12 लोगों की मौत हो गई थी। मृतकों में आठ बच्चे भी थे। हादसा उस वक्त हुआ था जब ऑटो सवार लोग भात देकर लौट रहे थे। तभी एक स्लीपर कोच बस ने ऑटो में टक्कर मार दी थी। हादसे के बाद गुमट मोहल्ले में कोहराम मच गया था। एक साथ 12 लोगों की मौत से हर कोई गमगीन था और एक-दूसरे को दिलासा दे रहे थे।
31 अक्टूबर- 14 की मौत: सीकर के लक्ष्मणगढ़ में हुए प्राइवेट बस हादसे में 14 लोगों की मौत हो गई थी जबकि 35 से अधिक घायल हो गए थे। हादसा उस वक्त हुआ जब सालासर से नवलगढ़ जा रही एक निजी बस लक्ष्मणगढ़ में एक पुलिया से टकरा गई। टक्कर के बाद बस पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गई। बस चालक की भी मौत हो गई थी।
चार दिसंबर- पांच की मौत: चूरू जिले में ट्रक व कार की टक्कर में पांच लोगों की मौत हो गई थी। हादसा चूरू-हनुमानगढ़ मेगा हाईवे पर उस वक्त हुआ था जब कार सवार लोग शादी समारोह में शामिल होने के लिए हनुमानगढ़ जा रहे थे। टक्कर इतनी जबरदस्त थी कि दो लोग गाड़ी में फंस गए थे, जिन्हें निकालने के लिए करीब दाे घंटे की कड़ी मशक्कत करनी पड़ी थी।
20 दिसंबर- 20 जिंदा जले: राजधानी जयपुर में अजमेर रोड पर भांकराेटा में 20 दिसंबर को हुए भीषण हादसे में अब तक 20 लोगों की मौत हो चुकी है। वहीं, गंभीर रूप से झुलसे 14 लोगों का सवाई मानसिंह अस्पताल में उपचार चल रहा है। एलपीजी से भरे टैंकर यू-टर्न लेते वक्त ट्रक से टकरा गया था और ब्लास्ट हो गया था। इसमें 40 से ज्यादा गाड़ियां आग की चपेट में आ गई थी। आग बुझने के बाद कई शवों को पोटली में डालकर अस्पताल ले जाया गया था।
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